गौहर अनवर रिपोर्ट
मेरठ। प्रदेश के मुखिया योगी आदित्यनाथ के उन आदेशों को शायद जल निगम और विद्युत विभाग के अधिकारियों ने ताक पर उठाकर रख दिया है, जिनमें सीएम योगी आदित्यनाथ ने सख्त हिदायत दे रखी है, कि भीषण गर्मी के दौरान प्रदेश वासियों को अन्य सभी सुविधाओं के साथ-साथ स्वच्छ पानी और बेहतर विद्युत व्यवस्था दी जाये। बात अगर जनपद मेरठ की की जाए तो यहां अनगिनत इलाके ऐसे हैं, जहां नलों से इतना दूषित पानी निकल रहा है, जिसे पीकर बच्चों से लेकर बूढ़े तक बीमार हो रहे हैं। लेकिन केवल एक्स “ट्विटर” पर प्रचार कर मेरठ को स्मार्ट सिटी बनाने वाले नगर निगम के अधिकारी शायद कुंभकर्ण की नींद सो रहे हैं, यही हालत विद्युत विभाग की हैं, जिसकी वजह से भीषण गर्मी में लोगों का बुरा हाल है, क्योंकि शहर हो या देहात विद्युत व्यवस्था इतनी बेकार हो गई है, कि शहर भर में लोगों को यही डर सताता रहता है कि लाइट कब चली जाए कुछ पता नहीं ? गर्मी जैसे-जैसे विकराल रूप ले रही है वैसे ही दिन भर में कई कई घंटे लाइट गायब रहती है, और रात में भी बुरा हाल है। लो वोल्टेज की समस्या इतनी ज्यादा है कि कई इलाकों में लाइट आने के बाद भी लोगों को राहत नहीं मिलती। इस विभाग के अधिकारी भी शायद अपने एसी कमरों में बैठकर विद्युत व्यवस्था को सही कराने के लिए ज़मीनी स्तर पर कम और सोशल मीडिया एक्स “ट्विटर”पर ही ज्यादा मेहनत कर रहे हैं। यह वही विभाग है, जिसके मंत्री ए०के० शर्मा प्रदेश भर में बेहतर विद्युत व्यवस्था देने के भरपूर प्रयास कर रहे हैं, जो कि खुद कई बार लोगों की शिकायत सुनने के लिए उपभोक्ता समाधान दिवस में नजर आ चुके हैं। और इसी विभाग के राज्य मंत्री डॉ० सोमेंद्र तोमर भी इसी जिला मेरठ में रहते हैं, जो खुद अपने कार्यालय पर लोगों की समस्याएं सुनते हैं। और तुरंत समाधान भी कराते हैं, जो अक्सर विद्युत विभाग के अधिकारियों को बेहतर विद्युत सुविधा देने की नसीहत देते हैं। लेकिन फिर भी इतनी भीषण गर्मी में शहर वासी बिजली और पानी के लिए तरस रहे हैं।